सर कटाकर जो वादा निभाए / sar kata kar jo wada nibhaye / سر کٹا کر جو وعدہ نبھائے

            मनक़बत इमाम हुसैन         


सर कटा कर जो वादा निभाए वो घराना है मौला अली का
घर का घर दीन पर जो लुटाए वोह घराना है मोला अली का

बंदगी का सलीका़ सिखाए वो घराना है मोला अली का
चढ़के नेजे़ पे कुरआन सुनाए वो घराना है मोला अली का

सर तो सब ही झुकाते है लेकिन करके सजदा उठाते हैं लेकिन
करके सजदा जो सर ना उठाए वो घराना है मोला अली का

गर सदा कोयी साइल लगादे अपने आगे का खाना खिला दे
दर से खाली सवाली ना लोटे वो घराना है मौला अली का

डूबी कश्ती को वापस निकाले कोयी गागर में सागर बुलाले
हुक्म पानी पे अपना चलाए वो घराना है मौला अली का

जंग में जीतना है ज़रूरी मारना होगा दुश्मन को फिर भी
सर कटा कर जो जंग जीत जाए वो घराना है मोला अली का


           منقبت امام حسین              




M. USMAN AASHIQUI


RASULPANAH GOLA LAKHIMPUR KHERI UP INDIA 
TUESDAY / 2 / AUGUST / 2022
Usman khan

Im usman khan from lakimpur kheri up india

Post a Comment

Comment inbox

Previous Post Next Post